Poet Pankaj Show pankaj jain
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- Music
This podcast is for those who love poetry in any form .I think poetry is the best way to express human emotions.
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कुछ दोस्त
कुछ दोस्त ऐसे भी होते हैं जो वक़्त के साथ रंग बदल जायगे जब वक़्त अच्छा हो तो आप की हर हा में भी हा मिला लेगे हैं जब वक़्त बुरा हो तो पीठ दिखाकर पतली गली से निकल जायगे
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हमने तुमसे प्यार किया
वो कहते हैं हमने तुमसे प्यार किया लेकिन कमबख्त जब नज़रों से नज़रें मिलीं तो कब इकरार किया
लब भी फड़फड़ाए
लेकिन इज़हार तो नहीं किया वो कहते थे बांहों में भर लेंगे तुम्हें
पास आए तो हाथ पकड़ने से भी इनकार किया
इतनी शर्तें रख दी
फिर भी कहते हैं हमने तुमसे प्यार किया -
बदल जा
ठहर जा संभल जा बदल जा
नहीं तो ये वक़्त तुझे बदल जाएगा
तू सोचता था तुम मालिक है इस धरती का
जो चाहे वो कर पाएगा
कभी सोचा था तूने तो दर्द से यूँ कह कर आएगा
1-1 सांस के लिए तो गिड़गिड़ाएगा
मौत के तांडव से तू डर जाएगा
तू अकेला आया था अकेला ही जाएगा
अपनी नादानियों से कब पार पाएगा
अभी भी वक्त है
ठहरजा संभलजा बदल जा
नहीं तो ये वक़्त तुझे बदल जाएगा -
Manzil
मंज़िल हो दूर तो थोड़ा ठहर जाना अच्छा है रास्ते में मिले राहगीरों से मिलना मिलाना अच्छा है अपनी कहानियां सुनाना और उनकी कहानियां सुनना अच्छा है पक्षियों का चहचहाना खेतों का लहलहाना अच्छा है थक हार कर अपनी प्यास बुझाना अच्छा है गालिब की शायरी गुनगनाना अच्छा है पहली बारिश में भीग जाना अच्छा है नए रास्तों से गुजर जाना अच्छा है हरी भरी वादियों में खो जाना अच्छा है ऊबड़ खाबड़ रास्तों पर गिरकर संभल जाना अच्छा है नई साँसें भर के फिर आगे बढ़ जाना अच्छा है मंज़िल हो दूर तो थोड़ा ठहर जाना अच्छा है
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Waqt Gujar jayega
बुरा हो या अच्छा वक्त तो गुज़र जाएगा ।
सिरहाने पर सिर रख के तू फिर सो जाएगा । सुबह जब आँख खुलेगी तो अँधेरा छंट जाएगा ।
सूरज की रोशनी में ये उपवन फिर लहलहाएगा ।
हर डाली डाली पे फूल फिर महक जाएगा ।
अंधेरा तो दूर दूर तक नजर नहीं आएगा ।
अपनों का साथ पाकर तू फिर मुस्कुराएगा ।
सावन की उस पहली फुहार में तू झूम के गाएगा।
बुरा हो या अच्छा वक्त तो गुज़र जाएगा ।
सिरहाने पर सिर रख के तो फिर सो जाएगा ।