Zindagi Kaisi hai paheli ज़िन्दगी कैसी प
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- Sociedad y cultura
ज़िन्दगी हमें बहुत कुछ सिखाती कभी हम समझते है कभी नहीं पर फिर भी चलती रही है। बस जो सोचती हूँ वो सामने रखना चाहती ही कोई कोई शर्त नहीं कोई वक्त नई ।बातें छोटीहों या बड़ी सब करना चाहती हूँ।क्योंकि हो सकता है जो मेरे साथ हुआ वो आपके साथ भी हुआ हो या जो आपने करा वो मैंने भी करा हो।
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क्षमा
ये सिर्फ़ वो बातें है जो मेरे साथ हुई हैं और अगर अपने साथ हुई है तो बताएँ मुझे ।एक ज़िन्दगी कई और जिंदगियों से जुड़ी होती है जुड़ जाति है।
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